Description
About the book
“आशा का सवेरा” ये पाँच खूबसूरत कहानियों का संग्रह हैं। कहानी के हर मुख्य किरदार अपने जीवन के संघर्षों से लड़कर आगे बढ़ता हैं और अपने अंदर छुपी गुणों को बाहर निकलने का अवसर देता हैं। इसी वजह से किरदार अंत में अपनी जीवन की उच्चतम शिखर को हासिल करता हैं। कहते हैं कि जीवन की चुनौतियाँ ही हमें बहुत आगे ले जाती हैं। ठीक इसी प्रकार इस किताब की हरेक कहानी के प्रमुख्य किरदारों की चुनौतियाँ भी उनको आगे ले जाती हैं। इन पांचों कहानियों के अहम किरदारों को आशा का सवेरा का इंतज़ार हैं। आखिर उनकी यह इंतज़ार उनके जीवन की किस मोड़ पर खत्म होगी? “हर अँधेरी रात के बाद एक उजाला दिन जरूर आता हैं इसलिए जीवन में स्थिर न रहें क्योंकि स्थिरता ही आपके भीतरी गुणों को काटने का काम करता हैं।”
About the author
इस पुस्तक की लेखिका गीता शर्मा का जन्म बिहार के पूर्वी चंपारण जिले में हुआ था। बचपन से ही इनकी रुचि कहानियाँ, गीत और नाटक लिखने में थी। बचपन में बहुत नाटकों को लिखा भी और उसे लोगों के सामने प्रस्तुत भी किया। यहीं से इनको साहित्य की खूबसूरती ने अपनी ओर आकर्षित किया। उसके बाद इन्होने बहुत सारी गीत, लघु कथाएँ, कहानियाँ और तो और कवितायें भी लिख डाली लेकिन वो अभी भी अप्रकाशित हैं। उनमें से कुछ छपी भी हैं जो सच में काबिले तारीफ हैं। “आशा का सवेरा” इस खूबसूरत कहानी संग्रह को लिखने के बाद वह एक खूबसूरत इतिहासिक उपन्यास लिखने में व्यस्त हैं। वैसे तो इंटरनेट के जमाने में इनकी कुछ रचनाएँ छपी हैं लेकिन यह किताब इनकी पहली पुस्तक हैं। ऐसी आशा है की इनकी अब तक की अप्रकाशित रचनाएँ भी बहुत जल्द प्रकाशित होंगी।
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